भारत ने बनाया इंसानों को बैठाकर उड़ने वाला ड्रोन Dron आओ जाने:-विश्व के बदलते हालातों को देखते हुए कई विकसित राष्ट्रों ने अपने यहां की आधुनिक सेना, और फ्यूचर प्लानिंग के साथ किए जाने वाले सुरक्षा संबंधी उपकरणों को तैयार करने के लिए कई प्रकार के आधुनिक हथियारों को बनाना शुरू कर दिया है। जिसमें से वर्तमान में यूज हो रहे ड्रोन का महत्व सभी देश के लोगों को पता है ऐसे में आने वाला फ्यूचर क्या ड्रोन वाली तकनीक पर आधारित केंद्रित होकर युद्ध लड़े जाएंगे यह तो आने वाला समय ही बताएगा लेकिन जिस तरह से वैश्विक हालात हैं उन को देखते हुए कई देशों ने अपनी सुरक्षा उपकरणों, मेडिसिन सप्लाई, ट्रांसपोर्टेशन सिस्टम को और अधिक सटीक और कम खर्चीला बनाने के लिए ड्रोन जैसी तकनीक का सहारा ले रहे हैं।
ऐसे में भारत भी अपने सुरक्षा उपकरणों को और अधिक विश्वसनीय और फ्यूचर मॉडल के आधार पर बनाने के लिए वचनबद्ध है। भारत में मेड इन इंडिया (Made in India) के तहत कई प्रकार के ड्रोन बनाए जा रहे हैं जिनका उपयोग आने वाले समय में कृषि क्षेत्र से लेकर सेना के सहायक कार्य, भारतीय ट्रांसपोर्टेशन सिस्टम, मेडिकल क्षेत्र में, इसकी भाभी संभावनाओं को देखते हुए इनका निर्माण किया जा रहा है। हाल ही में भारत ने अपने इंडियन नेवी डिफेंस सिस्टम को मजबूत बनाने के लिए भारत देश का पहला इंसान को लेकर उड़ने वाला वरुण ड्रोन को बनाने में सफलता हासिल की है। भारत में इस ड्रोन को बनाने का मुख्य श्रेय निजी क्षेत्र के भारतीय रक्षा स्टार्टअप ने भारत का पहला इंसानों को बैठाकर उड़ने वाला ड्रोन बनाकर तैयार कर लिया है जिसे हाल ही में भारत के माननीय प्रधानमंत्री पीएम मोदी ने भी इसको देखकर इसकी खूबियों की जमकर तारीफ की थी।
सागर डिफेंस के संस्थापक व सीईओ निकुंज पराशर ने इसको माननीय प्रधानमंत्री मोदी जी के सामने इसको हाल ही में प्रदर्शित किया और इसकी खूबियों को भी उन्होंने बताया।
जमीन से 2 मीटर की ऊंचाई पर उड़ने में सक्षम:-
भारतीय नेवी के लिए सागर डिफेंस ने अपने खास वरना ड्रोन को बनाकर ना सिर्फ देश की सेना के लिए बेहतर काम किया है बल्कि भारत के करोड़ों लोगों का दिल भी उन्होंने जीत लिया है। जी हां हम बात कर रहे हैं वरना ड्रोन की खूबियों की जो कि किसी भी इंसान को बैठा कर जमीन से 2 मीटर की ऊंचाई पर उड़ान भर सकने में पूरी तरह सक्षम है।
भारतीय इंडियन नेवी की तरफ से इस ड्रोन को बनाने का सबसे महत्वपूर्ण कार्य भारतीय नेवी जहाजों के सामान को एक जहाज से दूसरे जहाज पर लाने ले जाने के लिए किया गया है जिससे कि समय के साथ साथ मुश्किल हालातों में किसी भी प्रकार के सामान को एक जहाज से दूसरी जहाज पर शिफ्ट किया जा सकता है इसके अलावा खतरनाक परिस्थितियों में सैनिकों को भी आसानी से एक युद्धपोत से दूसरे जहाज पर आसानी से शिफ्ट किया जा सकता हैl
वरुण ड्रोन 25 किलोमीटर तक की उड़ान भरने में सक्षम: –
वरुण Dron की सबसे खास बात यह है कि यह ड्रोन किसी भी एक व्यक्ति को लेकर एक बार में 25 किलोमीटर तक की उड़ान भर सकता है l यदि बात की जाए इसकी पावर क्षमता की तो आपको बता दें कि इस आधुनिक भारतीय ड्रोन को पूरी तरह से लिफ्टिंग के लिए बनाया गया है। यह ड्रोन एक बार में 130 किलो ग्राम तक के भार को आसानी से उठाकर लगातार 25 किलोमीटर तक उड़ान भर सकता है।
भारतीय नौसेना में शामिल होने से पहले इसको कई अहम चुनौतियों पर खरा उतरना होगा फिर हाल अभी इसका ट्रायल चल रहा है यदि या पूरी तरह से समुद्री लहरों और तूफानों के बीच भी ट्रायल में सफल रहता है तो यह भारत के लिए किसी भी चमत्कारिक सफलता से कम नहीं होगा क्योंकि आने वाले समय में यह ड्रोन भारत की संभवी आकांक्षाओं पर खरा उतर कर भारत के युवाओं को इससे भी बेहतर ड्रोन बनाने के लिए प्रेरित करेगा जो कि भारत के बदलते स्वरूप और भारत के आत्मनिर्भरता को पूरी तरह से विश्व के सामने गौरवपूर्ण भारतीय निर्भरता की एक अदभुत मिसाल पेश करेगा l
यह वरुण ड्रोन भारतीय डिफेंस मैन्युफैक्चरिंग सिस्टम के विकास के लिए बेहद अहम:
हाल ही में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने भारत के भविष्य की संभावनाओं को और अधिक मजबूत और सशक्त बनाने के लिए भारतीय मैन्युफैक्चरिंग डिफेन्स System की जमकर तारीफ की है, उनके इन्हीं प्रयासों से देश का प्रत्येक युवा वैज्ञानिक भारत के नवनिर्मित उपकरणों को बनाने में बढ़-चढ़कर भाग ले रहा है, यही वजह है कि भारत में मेड इन इंडिया के तहत इस तरह के खास प्रोडक्ट अब आपके सामने स्वता अपना उदाहरण पेश कर रहे हैं जो कि भारत की आत्मा रक्षा, निर्भरता, सशक्तिकरण और नवनिर्मित विकास को दर्शाता है।
यह बात बिल्कुल 100 फ़ीसदी सही है कि हम भारतीय यदि अपने यहां बन रहे किसी भी प्रोडक्ट को प्राथमिकता देते हैं तो विश्व भी उसका अभिनंदन उत्साह के साथ करता है, इसका सबसे बड़ा उदाहरण ब्रह्मोस मिसाइल है जिसे आज लेने के लिए बड़े -बड़े देश भी लाइनों में लगे हैl इसलिए हमें भारत में बनने वाली प्रत्येक वस्तुओं का सम्मान करना चाहिए और भारत में निर्मित वस्तुओं को ही सबसे पहली प्राथमिकता देना हमारा पहला कर्तव्य होना चाहिए जिससे कि विश्व का प्रत्येक देश भारत में बनी हुई चीज,वस्तु, उपकरण, के महत्व को समझ सके l भारत में इंडियन नेवी की तरफ से (सागर डिफेंस ) ने यह अद्भुत Varuna Dron ड्रोन को बनाकर भारत में लगातार प्रगति पर अग्रसर भारतीय डिफेंस मैन्युफैक्चरिंग सिस्टम को आने वाले समय में और भी अधिक ऊंचाइयों पर ले जाएगी ऐसा हम सभी भारतीयों का दृढ़ विश्वास है।
वरुण ड्रोन (Varuna Dron) की खास बातें:-
भारतीय इंडियन नेवी के लिए सागर डिफेंस ने अपने द्वारा बनाए गए वरुणा ड्रोन की कुछ महत्वपूर्ण बातों को हमारे साथ साझा किया है, आइए जानते हैं इसकी कुछ महत्वपूर्ण खूबियों के बारे में l
किसी भी परिस्थिति में उड़ान भर सकने में सक्षम:_-
भारतीय इंडियन नेवी में शामिल करने से पहले ही सागर डिफेंस की तरफ से बनाए गए वरुणा ड्रोन को कई बार कई परिस्थितियों में ट्रायल किया गया जो कि पूर्णतया सफल रहा। इंसानों को लेकर उड़ान भर सकने में पूरी तरह सक्षम इस ड्रोन की सबसे प्रमुख खासियत यह है कि इसमें चार ऑटो पायलट यदि किसी परिस्थिति में कोई एक मोटर फैन बंद भी हो जाता है तो इसमें किसी भी तरह की कोई दुर्घटना होने की कोई संभावना नहीं है क्योंकि इसमें कई तरह के सेंसर टेक्नोलॉजी को इस्तेमाल किया गया है जिससे यह कई संकट वाली परिस्थितियों में अपने आप को ऑटो पायलट के रूप में कन्वर्ट करके इस ड्रोन को सुरक्षित जमीन पर उतारने में पूरी तरह सक्षम है।
इंडियन नेवी ने सागर डिफेंस मैन्युफैक्चरिंग को 30 वरुण ड्रोन और बनाने का दिया प्रस्ताव:-
सागर डिफेंस मैन्युफैक्चरिंग के प्रमुख वा (C.O) सी ओ निकुंज पराशर को भारतीय नौसेना (Indian Navy) ने 30 और वरुण ड्रोन बनाने का ठेका दे दिया है जिसे आने वाले डेढ़ सालों में भारतीय नौसेना को देने का लक्ष्य रखा गया है। फिलहाल अभी भारत में वरुण ड्रोन के कई सारे परीक्षण पूरे हो गए हैं लेकिन इसको नौ सेना में शामिल करने से पहले इसकी कुछ प्रमुख समुद्री परीक्षण होने बाकी हैं जिसको हरी झंडी मिलते ही इस ड्रोन को भारत की नौसेना में पूरी तरह से शामिल कर लिया जाएगा।